लखनऊ। समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने कहा है कि नागरिकता संशोधन अधिनियम, राष्ट्रीय जनसंख्या रजिस्टर तथा राष्ट्रीय नागरिकता रजिस्टर यह सब एक ही है। हर भारतीय इसके विरूद्ध है। इसके प्रति देशभर में जो आशंकाएं हैं उससे गहरा असंतोष और आक्रोश पनप रहा है। भाजपा का शीर्ष नेतृत्व सच क्यों नहीं बोलता है? भाजपा सरकार ने जनता की बुनियादी समस्याओं का समाधान नहीं किया है और अब देश को लाइन में लगाने की फिर साजिश की जा रही है।
अखिलेश यादव ने कहा कि गत 19 दिसम्बर 2019 को जनआक्रोश के प्रदर्शन में डेढ़ दर्जन से ज्यादा मौतें हुई। इनकी पोस्टमार्टम रिपोर्ट क्यों नहीं दी जा रही है? सरकार भाजपा की है, विरोध भाजपा सरकार के निर्णयों का हुआ तो फिर गोली किसने चलाई? इस असंतोष के विस्फोट के बाद पुलिस प्रतिशोधपरक कार्यवाहियां कर रही है। दूकानों और घरों में तोड़फोड़ की जा रही है। निर्दोषों को सताया जा रहा है। लोगों का उत्पीड़न हो रहा है। महिलाओं का अपमान किया जा रहा है। रामपुर में उत्पीड़न चरम पर है। निर्दोषों को निशाना बनाया जा रहा है।
अजीब विडम्बना है कि पुलिस 19 दिसम्बर 2019 के प्रदर्शन के सिलसिले में रंग कर्मियों, संस्कृति कर्मियों की भी धर पकड़ कर रही है। पत्रकारों के प्रति पुलिस का व्यवहार नितांत अवांछनीय और निंदनीय रहा है। भाजपा सरकार उनके साथ अन्याय कर रही है।
अखिलेश यादव ने कहा कि भाजपा सरकार की कथनी और करनी में बहुत अंतर है। वह समाज को बांटने का काम कर रही है। लेखपाल अपनी मांगो को लेकर आंदोलनरत हैं। उनकी जाति देखकर सेवाओं से बर्खास्त किया जा रहा है। अब तो अस्पतालों में इलाज भी जाति पूछकर होने लगा है। फर्जी एनकाण्टर और फर्जी मुकदमें भी जाति देखकर होते हैं। लखनऊ में तीन सौ एकड़ में हैदर कैनाल के किनारे वृक्षारोपण समाजवादी सरकार के समय किया गया था। भाजपा सरकार इन पेड़ों से भी दुश्मनी निभा रही है। इन वृक्षों की पारा क्षेत्र में कोई देखभाल नहीं हो रही है।
अखिलेश यादव ने कहा कि भाजपा नेतृत्व कभी सच नहीं बोलता है। शीर्ष स्तर पर प्रधानमंत्री जी और गृहमंत्री जी परस्पर विरोधी दावे करते है। इससे लगता है कि पीछे कुछ साजिशें रची जा रहीं है। भाजपा सच की हत्या कर रही है। जनता-भाजपा से सच जान कर रहेगी।